हिचकी का रोग :
आम के गिरे हुए सूखे पत्तों को जलाकर उनका धुआं सूंघने से हिचकी आना बंद हो जाती है।
कच्चे आम की गुठली की गिरी निकालकर धूप में सूखाकर पीस लें। आधा चम्मच चूर्ण शहद के साथ सेवन करने से हिचकी में लाभ होता है।
पके हुए आम के रस में दूध मिलाकर सेवन करने से हिचकी में लाभ होता है।
आम के सूखे पत्तों को चिलम में भरकर धूम्रपान करने या ताजे पत्तों को कूटकर निकाले गये रस (2-3 ग्राम) में थोड़ा सा शहद मिलाकर सेवन करने से हिचकी बंद हो जाती है।
आम के पत्ते व धनिया दोनों को कूटकर 2 से 5 ग्राम की मात्रा में लेकर गुनगुने पानी से दिन में दो या तीन बार पियें।
[: खून की कमी दूर करने के उपाय व घरेलु नुस्खे :-
— गाजर , टमाटर , पालक , चुकंदर , आंवला इन सबका रस निकाल कर पीने से खून की कमी दूर हो जाती है।
— प्याज का नियमित सेवन खून की कमी होने से रोकता है।
— टमाटर के रस में नीबू का रस और नमक मिलाकर पियें। रात को एक गिलास पानी में चार चम्मच किशमिश और एक नींबू का रस मिलाकर रख दें। सुबह किशमिश खा लें साथ में पानी भी पी लें। इससे रक्त की कमी दूर होती है।
— गेहूं के ज्वारे ( हरे अंकुर ) का रस नियमित पीने से खून बढ़ता है तथा सभी रक्त विकार दूर होते है।
— यदि इनसे लाभ ना हो तो डॉक्टर से परामर्श अवश्य करना चाहिए ।
[ कमजोर फेफड़ों के उपचार के लिए आहार –
अदरक –
अदरक विश्वसनीय घरेलू उपचारों में से एक है। वैज्ञानिकों ने पाया है कि इसमें बायोएक्टिव कंपाउड और जिंजरोल होता है। यह कंपाउंड अदरक के तेज स्वाद के लिए जाना जाता हैं। आपको बता दें कि जिंजरोल अस्थमा, कोल्ड, माइग्रेन और उच्च रक्तचाप को रोकने में मदद करता है। अदरक का सेवन करने का सबसे अच्छा तरीका यह है कि आप अदरक को कुचल लें और उसे डिटॉक्स वॉटर में डालकर पीएं।