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🌻. लिम्फोमा कैंसर (Lymphoma cancer) :
लिम्फोमा, लिम्फोसाइट्स में होने वाला कैंसर है जिसका अर्थ है कि यह सेल्स बिना किसी नियंत्रण के बढ़ते हैं। लिम्फोमा कैंसर प्रतिरक्षा प्रणाली लिम्फोसाइटों नामक कोशिकाओं में शुरू होता है। अन्य कैंसर की तरह, लिम्फोमा तब होता है, जब लिम्फोसाइटों उस स्थिति में होती है जब अनियंत्रित कोशिका में वृद्धि होने के साथ-साथ कई गुणा बढ़ जाती हैं।
🍂कैंसर का आयुर्वेदिक इलाज:-
कैंसर की सबसे अच्छी दवा है हल्दी और गौ मूत्र। अब देशी गाय का मूत्र आधा कप(गोमूत्र माने देशी गाय के शारीर से निकला हुआ सीधा-सीधा मूत्र जिसे सूती के आट परत की कपड़ो से छान कर लिया गया हो) और आधा चम्मच हल्दी दोनों मिलाके गरम करना जिससे उबाल आ जाये फिर उसको ठंडा कर लेना । Room Temperature में आने के बाद रोगी को चाय की तरह पिलाना है .. चुस्किया ले ले के सिप सिप कर कर ।

🍂एक और आयुर्वेदिक दवा है पुनर्नवा जिसको अगर आधा चम्मच इसमें मिलायेंगे तो और अच्छा result आयेगा । इस दवा को (देशी गाय की मूत्र, हल्दी, पुनर्नवा-पंसारी की दुकान से मिल जाएगी। ) सही अनुपात में मिलाके उबालकर ठंडा करके कांच की पात्र में स्टोर करके रखिये पर बोतल को कभी फ्रिज में मत रखिये, धुप में मत रखिये । ये दवा कैंसर के सेकंड स्टेज में और कभी कभी थर्ड स्टेज में भी बहुत अच्छे परिणाम देती है। तीन से चार महीने तक ये दवाई सुबह खाली पेट लेनी है।

🌾नोट:- गौ प्रेग्नेंएट नहीं होनी चाहिए नहीं तो आप उसकी बछिया का भी ले सकते है। देशी गाय की पहचान उसकी पीठ पर हंप होता है बेहतर होगा अगर आप काले रंग की देशी गाय का ही मूत्र लें याद रहे मूत्र लेना है गौ अक्र नही क्यूंकि काले रंग की गाय का मूत्र इसमें जल्दी फायदा करता है। अगर रोगी को Chemotherapy दी जा चुकी है इस दवा को देने में कुछ फायदा नही है कुछ result नही आएगा अगर Chemotherapy अभी नि दी गयी है तो आप इस दवा को ले सकते हैं।

🍃हल्दी से कैंसर का उपचार क्यों :-
हल्दी एक Anti-Cancerous दवा है हल्दी कैंसर ठीक करने की ताकत रखती है ! कैसे ताकत रखती है वो जान लीजिये हल्दी में एक केमिकल है उसका नाम है कर्कुमिन (Carcumin) और ये ही कैंसर cells को मार सकता है और ये केमिकल हल्दी मैं पाया जाता है।

🍃हल्दी जैसा ही कर्कुमिन और एक चीज में है वो है देशी गाय के मूत्र में । गोमूत्र माने देशी गाय के शारीर से निकला हुआ सीधा-सीधा मूत्र जिसे सूती के आट परत की कपड़ो से छान कर लिया गया हो । तो देशी गाय का मूत्र अगर आपको मिल जाये और हल्दी आपके पास हो तो आप कैंसर का इलाज आसानी से कर पायेंगे।

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🌻कैंसर में क्या खाएं (What to eat in cancer) :
🍃1. हरी सब्जियां खाएं :– कैंसर रोग में हरी सब्जियां जैसे फूलगोभी,पत्तागाोभी और ब्रोकली , पालक, मेथी आदि को सेवन में सामिल करना चहिये क्यूंकि ये हरी सब्जियां डिटोक्सीफिकेशन एंजाइम के उत्पादन को बढ़ाते हैं, जो कैंसर की कोशिकाओं को मारते हैं।

🍃2. ताजे फल खाएं :- कैंसर रोग में ताजे फल जैसे अंगूर , पपीता , तरबूज , अमरुद आदि का सेवन करना चहिये क्यूंकि ये फल कैंसर को होने से रोकते हैं।

🍃3. ताजा रस पियें :- सुबह-सुबह प्रतिदिन नीबू , संतरा , मौसमी का जूस पीना चहिये ये भी कैंसर के खतरे को टालते हैं।

🍂4. ड्राई फ्रूट्स खाएं :- ड्राई फ्रूट्स जैसे बादाम, किसमिस, छुआरे, मुनक्का आदि का सेवन करना चहीये ये सभी कैंसर के फैलाब को रोकते हैं।

🍂5. लहसुन के सेवन करें :- कैंसर रोग में रोगी का लहसुन का सेवन करना चहिये ये कैंसर रोग के खत्म होने की क्षमता रखता है क्यूंकि ये शरीर की प्रतिरक्षा प्रणाली को मजबूत रखता है।

🍃6. गो मूत्र पिए :- कैंसर रोग में गौ मूत्र और ज्वारे का रस पीना चहिये क्यूंकि ये कैंसर को खत्म करते।

🌾7. ग्रीन टी पिए :- ग्रीन टी पीने से भी ब्रैस्ट कैंसर से छुटकारा मिलता है।

🌻8. प्रोटीन का सेवन :- कैंसर रोग में प्रोटीन का अधिक सेवन करना चहिये प्रोटीन के स्रोत्र जैसे चना, मटर, मूंग, मसूर, उड़द, सोयाबीन, राजमा, लोभिया, गेहूँ, मक्का प्रमुख हैं।
🌷कैंसर में क्या नही खाएं (Do not eat in cancer) :
🍃1. नशीले पदार्थ :- नशीले पदार्थ जैसे तम्बाकू, कुबेर, गुटका, सिगरेट बिंडी, इत्यादि का सेवन न करें। क्यूंकि ये सभी कैंसर को बढ़ावा देते हैं।

🍃🍃2. कैलोरी वाला भोजन :- ज्यादा केलोरी वाले का खाने का सेवन जितना हो सकें उतना ही कम करें। क्यूंकि कैंसर रोग में जादा कैलोरी का सेवन परेशानी बढ़ा सकता है।

🍃3. स्वादनुसार नमक :- कभी भी खाना पकने के बाद ऊस पर ऊपर से नमक नहीं डालना चहिये खाना बनते समय ही नमक डालना चहिये केवल स्वादनुसार ही नमक खाना चहिये।

🍃4. मॉस का सेवन न करें :- ज़्यादा चर्बी वाला भोजन न करें। माँस, तला भुना खाना आदि को अपने सेवन में सामिल न करें क्यूंकि ये आसानी से पचते नहीं हैं।

🍃5. मीठे पदार्थ का सेवन :- कैंसर रोग में मीठे पदार्थों का सेवन नहीं करना चहिये क्यूंकि ये परेशानी बढ़ा सकते हैं।

🍃6. सैचुरेटिड फूड्स न खाएं :- कैंसर होने पर सैचुरेटिड फूड्स बहुत हाई एमाउंट में नहीं खाने चाहिए अगर आप खाना चाहते हैं तो कम मात्रा में खाएं।

क🌺ैंसर से बचने के उपाय (Measures to Avoid Cancer)
🌾1. तली हुई चीजो का सेवन न करें :- ज्यादा से ज्यादा तली हुई चीजो का सेवन न करें और खाने में डालडा घी की जगह सुद्ध देशी तेल जैसे सरसों ,नारियल ,मूँगफली का सेवन करें।

🌾2. जाँच कराएँ :- जब भी आपको लक्षण को देखकर लगे की ये कैंसर के लक्षण है तो समय पर जाँच करा लेनी चहिये।

🌾3. योन सम्बन्ध :- जादा लोगों से योन सम्बन्ध नहीं बनाने चहिये अगर किसी को कैंसर है तो वो आपको भी हो सकता है।

🌾4. पैन किलर दवा :- पैन किलर या दर्द निवारक दवा का सेवन बहुत कम मात्रा में करना चहिये या फिर इनकी आदत छोडनी चहिये।

🌾5. योगासन करें :- सुबह-सुबह जग कर योग करने चहिये घूमना चहिये इनसे व्यक्ति बीमारियों से दूर रहता है।

🌾6. वेग न रोकें :- कभी भी अपने वेग नहीं रोकने चहिये वेग मतलब छींक आना , बाथरूम आना , हंसी आना आदि इनको कभी भी नही रोकना चहिये
🌾7. 7. वजन कम करें :- अगर आपका वजन जादा है तो अपना वजन कर करें ये भी एक कैंसर का कारण है।

🌾8. तनावमुक्त रहें :- कभी भी चिंता न करें और कोई भी मानसिक कार्य जादा न करें और खुश रहें।

🌼सुबह-सुबह थोड़ी-थोड़ी सेर कराएँ और और प्राणायाम कराएँ जेसे अनुलोम विलोम , कपालभाती इन दोनों प्राणायाम को करने से कोई भी बीमारी पास नहीं आ सकती और अगर कोई बीमारी है तो वो भी जल्द ही ठीक हो

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