Phone

9140565719

Email

mindfulyogawithmeenu@gmail.com

Opening Hours

Mon - Fri: 7AM - 7PM

किस माला का पूजा में क्या है
महत्व? –


रुद्राक्ष माला-

  • भगवान शिव के मंत्र के साथ-साथ किसी भी देवी देवता के मंत्र का जाप किया जा सकता है.
  • हमेशा महामृत्युंजय मन्त्र का जाप रुद्राक्ष की माला से ही करना चाहिए.

हल्दी माला-

  • मन की इच्छा को पूरा करने के लिए हल्दी माला का प्रयोग किया जाता है.
  • गुरुदेव बृहस्पति और मां बगलामुखी के मंत्र का जाप इसी माला से होता है.
  • हल्दी माला से विद्या प्राप्ति, संतान प्राप्ति और ज्ञान प्राप्ति के लिए मंत्र जाप किया जाता है.

स्फटिक माला-

  • स्फटिक माला का प्रयोग धन प्राप्ति और मन की एकाग्रता के लिए किया जाता है.
  • मां लक्ष्मी के मंत्र जाप इसी माला के द्वारा करें.
  • उच्च रक्तचाप में इस माला को पहन सकते हैं.

चंदन की माला-

  • चंदन की माला दो प्रकार की होती है, एक सफेद चंदन और दूसरा लाल चंदन.
  • मां दुर्गा के मंत्र का जाप लाल चंदन की माला के द्वारा होता है.
  • सफेद चंदन की माला से भगवान कृष्ण के मंत्र का जाप किया जाता है.
  • राहु की महादशा में सफेद चंदन की माला को पहना जाता है.

तुलसी की माला-

  • तुलसी की माला से देवी और भगवान शिव के मंत्र का जाप नहीं किया जाता.
  • तुलसी की माला धारण करने पर हमेशा वैष्णव रहना चाहिए.
  • तुलसी की माला द्वारा भगवान विष्णु के मंत्र का जाप किया जाता है. इसलिए यह माला बहुत महत्वपूर्ण है.

कमलगट्टे की माला-

  • कमलगट्टे की माला का प्रयोग धन वैभव प्राप्ति के लिए किया जाता है.
  • शत्रुओं के नाश के लिए भी कमलगट्टे का प्रयोग किया जाता है.
  • मंत्र जाप के बाद इस माला को पूजा स्थान में रखना चाहिए.

किसी भी माला के प्रयोग में बरतें ये सावधानियां-
-माला हमेशा 108 या 27 दाने की होनी चाहिए.

  • हर दाने के बाद एक गांठ जरूर लगी हो.
  • मंत्र जाप के समय माला ढ़की होनी चाहिए.
  • मंत्र जाप करते समय तर्जनी उंगली का स्पर्श नहीं होना चाहिए.
  • सुमेरु को भी नहीं लांघना चाहिए.
  • माला हमेशा अपनी रखनी चाहिए किसी और को इसका प्रयोग ना करने दें.
  • मंत्र जाप के बाद माला को मंदिर में रखना चाहिए उसे धारण नहीं करना चाहिए.
  • और खास बात* हमेशा एक ही माला या अभिमंत्रित हुई माला का प्रयोग करना चाहिए।

💥🙏💥🙏💥

Recommended Articles

Leave A Comment